आर० डी० न्यूज़ नेटवर्क : 09 अगस्त 2022 : पटना : पटना में भाजपा कोर ग्रुप की बैठक हुई। बैठक में रविशंकर प्रसाद, शाहनवाज हुसैन और गिरिराज सिंह समेत कई नेता मौजूद थे। गिरिराज सिंह ने कहा कि नीतीश कुमार ने जनता के साथ धोखा किया है। जनता उन्हें जरूर सबक सिखाएगी।

वहीं, रविशंकर प्रसाद ने भाजपा द्वारा उनकी पार्टी तोड़ने की बात नीतीश से पूछा सवाल। कहा कि हमारे साथ कैसे और क्यों आए थे, यह याद दिलाना जरूरी। उन्होंने कहा कि आपने लालू को छोड़ा था। हम चारा घोटाले की लड़ाई लड़ रहे थे। मैं वकील था, सुशील मोदी पेटिशनर थे। रविशंकर प्रसाद ने कहा कि आपने समता पार्टी बनाई थी। आप भाजपा के साथ रहे क्योंकि जंगलराज परिवारवाद लूट के खिलाफ थे। रविशंकर प्रसाद ने कहा कि नीतीश कुमार जी हमें छोड़कर चले गए और कहा कि बीजेपी उनकी पार्टी को तोड़ने का काम कर रही थी। इसलिए नीतीश जी से आज मुझे कुछ सवाल पूछना है। पहला सवाल- आप हमारे साथ कैसे और क्यों आए थे। आपको याद है, आपने लालू जी को छोड़ा था। जब हम लोग चारा घोटाले की लड़ाई लड़ रहे थे। याद है ना, आपने समता पार्टी बनाई थी। बीजेपी के साथ आने की आपकी वह पहली यात्रा थी। माननीय नीतीश कुमार जी आज सांप्रदायिकता की बात करते हैं, तो मैं आपको बताऊं कि उस वक्त रामजन्मभूमि का आंदोलन पीक पर था।

रविशंकर प्रसाद ने आगे कहा कि उसके बाद आप बीजेपी के साथ रहे क्योंकि जंगल राज, लूट, परिवारवाद, भ्रष्टाचार के खिलाफ आपने अपनी आवाज बीजेपी के साथ बुलंद की थी। हम लोग चारा घोटाले में लड़ रहे थे, मैं वकील था और सुशील कुमार मोदी पीटिशनर थे। बाद में ललन सिंह भी आए थे। ये आपका हमारे साथ आने की शुरुआत है। आप 1996 में साथ थे। 1998 में साथ थे। रेलमंत्री बने, 2000 में बीजेपी ने आपको बिहार का मुख्यमंत्री बनाया। जब बहुमत नहीं साबित हो सका तो बीजेपी ने आपको दोबारा केंद्र में मंत्री बनाया। उसके बाद नीतीश कुमार जी आपको ये स्मरण देना जरूरी है कि आपकी पार्टी में आपको बिहार के मुख्यमंत्री के रूप में प्रोजेक्ट करने में परेशानी थी। 2005 के विधानसभा चुनाव में स्वर्गीय अरुण जेटली, स्वर्गीय प्रमोद महाजन, स्वर्गीय सुषमा स्वराज आदि नेता पटना में उपस्थित थे। उस वक्त बूटा सिंह ने सरकार को बर्खास्त कर दिया था। तब हम लोगों ने तय किया कि अगर बिहार में जीतना है तो इसके लिए नेता चाहिए। हम लोगों ने आपके लिए बहुत आग्रह किया, दबाव दिया। आज नीतीश जी मुझे आपको याद कराना होगा, जॉर्ज फर्नांडिस सरीखे नेता भी हमलोगों के इस दबाव से बहुत सहज नहीं थे। आज आपको याद दिलाना जरूरी है कि आज आपने कहा है कि बीजेपी ने आपकी पार्टी को तोड़ने का काम किया है। आप हमारे साथ थे, बीजेपी और जेडीयू सरकार ने अच्छा काम किया।

नरेंद्र मोदी के विरोध के नाम पर चले गए: रविशंकर

रविशंकर प्रसाद ने आगे कि 2013 में केवल नरेंद्र मोदी के विरोध के नाम पर चले गए। 2014 में आप बुरी तरह हार गए। फिर आप लालू यादव के साथ चले गए। 2015 में लालू जी का साथ लेकर मुख्यमंत्री बने।

‘आपने 2015 में लालू जी के साथ जाने के फैसले पर पुर्नविचार क्यों किया’

रविशंकरा प्रसाद ने कहा कि नीतीश कुमार जी बीजेपी आज आपसे दूसरा सवाल पूछ रही है। आपने 2015 में लालू जी के साथ जाने के फैसले पर पुर्नविचार क्यों किया। 2017 में आपने क्यों कहा कि मैं बहुत असहज हूं, क्योंकि श्रीमान तेजस्वी जी अपने ऊपर भ्रष्टाचार के लगे गंभीर आरोपों का जवाब नहीं दे पा रहे हैं। रांची में होटल ट्रांसफर, पटना में मॉल बनने को लेकर, नौकरी के बदले जमीन लेने को लेकर सवाल उठे थे। नीतीश जी कृपया करके आप टीवी पर दिए अपने पुरान कॉमेंट को याद कीजिए, आपने कहा था इतने गंभीर आरोप लगे हैं इसका जवाब तो मिलना चाहिए। तेजस्वी जी ने बार-बार कहा कि यह जवाब मैं अपने वकील से पूछकर दूंगा। उसके बाद आप हमारे साथ आए।

बीजेपी सांसद ने कहा कि 2019 का लोकसभा चुनाव हमारे साथ लड़ा। जिस बीजेपी ने 2014 में बिहार में निर्णायक जीत दर्ज की थी। इसके बाद भी बीजेपी ने अपनी जीती हुई सीटें आपको दीं। मैं अपने सभी वरिष्ठ सांसदों का अभिनंदन करूंगा, जो 2014 में जीते थे लेकिन नीतीश जी के चलते 2019 में टिकट काटा, ताकि जेडीयू के अधिक लोगों को टिकट मिल सके, तो क्या उस वक्त बीजेपी ठीक थी।

रविशंकर प्रसाद ने कहा- ‘नीतीश कुमार जी आपसे मेरा तीसरा सवाल यह है कि आप 2019 में जीते नरेंद्र मोदी के नाम पर बिहार में। आज आपकी भी संख्या 16 सांसद की हो गई है। 2014 में आपकी संख्या थी 2।’

नीतीश जी आपको याद है ना, मोदी जी ने जंगलराज के दो युवराज नारा दिया था

2020 की विधानसभा चुनाव की बात करते हैं, नीतीश जी क्या यह सच्चाई नहीं है उस चुनाव में नरेंद्र मोदी जी ने जितना सघन प्रचार किया, उसके कारण एनडीए की साख बन पाई। आज मैं आपको विनम्रता से याद दिलाना चाहता हूं फर्स्ट फेज का चुनाव फुलवारी से लेकर यूपी के बार्डर तक हुआ था। याद कीजिए एनडीए को कितनी सीटें मिली थी। हम लोग पटना की सारी सीटें जीते, लेकिन फुलवारी, दानापुर, आरा आदि हारते चले गए। उसके बाद मोदी जी ने दूसरे से लेकर पांचवे फेज तक सघन प्रचार किया। नीतीश जी आपको याद है ना, मोदी जी ने जंगलराज के दो युवराज नारा दिया था। पीएम के सघन प्रचार से बिहार की हवा बदलती रही। दूसरे फेज से हमारी बढ़त शुरू हुई और हम चौथे-पांचवे में स्विप कर गए। आपको 43 सीट आया तो आप केवल दूसरों पर आरोप लगाते हैं। कभी अपने अंदर भी झांकना चाहिए था।

उन्होंने आगे कहा कि आपको 43 सीटें मिली, जबकि बीजेपी की सीटें आपके दोगुने के बराबर थी। इसके बाद भी पीएम मोदी ने दिल्ली के बीजेपी कार्यालय में घोषणा कर दी नीतीश कुमार ही मुख्यमंत्री बनेंगे। बीजेपी के सभी कार्यकर्ता और विधायक ने इसे सहजता से स्वीकार कर लिया। तो आप कैसे कहते हैं कि बीजेपी ने आपको कमजोर करने की कोशिश की। आपको बिहार की जनता ने कमजोर कर दिया है। इतना कुछ लाभ लेने के बाद भी आप कहते हैं अब बीजेपी आडवाणी वाजपेयी वाली नहीं रही, ये तो कमाल की बात है। नीतीश कुमार जी आज नैतिकता का क्या तकाजा है।

नीतीश कुमार ने बिहार की जनता और बीजेपी को धोखा दिया: जायसवाल

इससे पहले बिहार बीजेपी के प्रदेश अध्यक्ष डॉ संजय जायसवाल ने पटना में पार्टी दफ्तर में प्रेस कॉन्फ्रेंस करते हुए कहा कि आज जो कुछ भी हुआ है, यह जनता के साथ धोखा है। धोखे का जवाब बिहार की जनता जरूर देगी। जायसवाल ने कहा कि 2020 के विधानसभा चुनाव में एनडीए को जनादेश मिला था। बीजेपी को 74 सीटें मिली थी, उसके बावजूद प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और गृह मंत्री अमित शाह ने वादे के मुताबिक नीतीश कुमार को एनडीए का मुख्यमंत्री बनाया। उन्होंने कहा कि नीतीश कुमार ने बिहार की जनता और बीजेपी को धोखा दिया है। यह इस जनादेश का उल्लंघन हैं, जो बिहार को जनता ने दिया था।

‘यह प्रदेश शांति चाहता है, विकास चाहता है’

उन्होंने कहा कि बिहार की जनता ने 2005 के पहले जो सरकार थी, उसके विरुद्ध यह जनादेश था। यह प्रदेश शांति चाहता है, विकास चाहता है। आज जो कुछ भी हुआ है वह जनता के साथ धोखा है और यह जनता यह कतई बर्दाश्त नहीं कर सकती।

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