
रिपोर्ट: Rohtas Darshan चुनाव डेस्क | रांची/कोलकाता | Updated: 21 नवंबर 2025: प्रवर्तन निदेशालय (ED) ने झारखंड और पश्चिम बंगाल में कोयला माफियाओं के खिलाफ बहुत बड़ी संयुक्त कार्रवाई करते हुए 42 ठिकानों पर छापेमारी की। कार्रवाई 21 नवंबर की सुबह करीब 5:30 बजे शुरू हुई और लगातार कई घंटों तक चलती रही।
रेड के दौरान ED टीम को—
✔ थैलों में भरी बड़ी मात्रा में नकदी,
✔ भारी ज्वेलरी,
✔ डिजिटल रिकॉर्ड और
✔ कई संदेहास्पद दस्तावेज
बरामद हुए, जिन्हें देखकर जांच अधिकारियों तक की आंखें खुली रह गईं।
झारखंड में 18 जगहों पर छापा
ED ने झारखंड में 18 लोकेशन पर एक साथ रेड की, जिनमें प्रमुख कोयला कारोबारी और माफिया शामिल हैं।
इनमें धनबाद के कई नाम चर्चा में हैं, खासकर—
• लाल बहादुर सिंह,
• अन्य बड़े कोल ऑपरेटर
धनबाद के “देव विला” और अन्य इलाकों में जैसे ही ED टीम पहुंची, वहां भीड़ जमा होने लगी। पिछली बार ऐसी कार्रवाई में जांच टीम को विरोध का सामना करना पड़ा था।
हालांकि इस बार—
👉 ED ने सुरक्षा बढ़ाई
👉 बड़ी संख्या में अर्धसैनिक बल तैनात किए
👉 छापेमारी बिना बाधा के जारी रही
बंगाल में 24 से अधिक ठिकानों पर छापा
इसके साथ ही पश्चिम बंगाल में भी 24 से अधिक लोकेशन पर एक साथ कार्रवाई हुई। जिन प्रमुख नामों पर सर्च ऑपरेशन चला, उनमें शामिल हैं—
• नरेंद्र खड़का
• कृष्ण मुरारी
• युधिष्ठिर घोष
• परवेज आलम सिद्दकी
कोलकाता, दुर्गापुर, आसनसोल, हावड़ा, पुरुलिया और बर्धमान में ED की टीमें सुबह से सक्रिय रहीं।
क्या चल रहा था बड़ा खेल?
सूत्रों के मुताबिक—
✔ इन माफियाओं का नेटवर्क विभिन्न राज्यों में फैला हुआ था
✔ कोयला खनन, ट्रांसपोर्ट और सिंडिकेट के नाम पर अरबों की कमाई होती थी
✔ पैसों को सफेद करने के लिए शेल कंपनियों और घुमावदार लेनदेन का उपयोग किया जाता था
ED को—
▶ कई डिजिटल रिकॉर्ड
▶ मोबाइल चैट
▶ ट्रांज़ैक्शन डेटा
▶ हार्ड डिस्क और सर्वर
जैसे सबूत मिले हैं, जिनसे जांच और आगे बढ़ने की संभावना है।
माफियाओं में मची खलबली
जैसे ही छापेमारी शुरू हुई—
👉 कोयला अपराधियों में भगदड़ मच गई
👉 इसके राजनीतिक और प्रशासनिक कनेक्शन की भी जांच की जा रही है
👉 बड़े स्तर पर ED के आगे और खुलासे होने की उम्मीद है
निष्कर्ष
यह कार्रवाई—
• कोयला ब्लैक मनी रैकेट
• राजनीतिक संरक्षण
• अवैध ट्रांसपोर्ट
• टैक्स चोरी और हवाला
जैसे कई मोर्चों पर बड़ा असर डाल सकती है। जांच में अभी कई बार छापेमारी और गिरफ्तारियां संभव हैं।


