मानवाधिकार एवं विधिक जागरूकता सम्मेलन का आयोजन
रोहतास दर्शन न्यूज़ नेटवर्क : 22 अक्टूबर 2021 : सासाराम। मानवाधिकारों के प्रति सम्मान का भाव विकसित करने के लिए प्राचीन भारतीय सन्दर्भ सदैव प्रासंगिक रहे हैं तथा इसकी रक्षा के लिए सभी को अपने कर्तव्यों का ईमानदारी पूर्वक निर्वहन करना होगा। इसीलिए हमारे शास्त्रों में भी त्याग, तपस्या, सहयोग, परोपकार जैसे सदगुणों के आधार पर अधिकार की अपेक्षा कर्तव्य को अति महत्वपूर्ण बताया गया है। उक्त बातें जिला एवं सत्र न्यायाधीश अरुण कुमार श्रीवास्तव ने शुक्रवार को शहर के प्रभाकर रोड स्थित एक निजी भवन में आयोजित मानवाधिकार एवं विधिक जागरूकता सम्मेलन के दौरान कही। उन्होंने कहा कि मानवाधिकार के संरक्षण एवं संवर्धन के लिए विश्व स्तर पर कर्तव्य बोध को जागृत करने की आवश्यकता है तथा सर्वे भवंतु सुखिन की संस्कृति को आत्मसात करना होगा। इस दौरान जागरूकता सम्मेलन को संबोधित करते हुए सीजीएम राघवेन्द्र प्रताप सिंह ने कहा कि मानव अधिकार वे अधिकार है जो मानव को जन्म के साथ हीं नैसर्गिक रूप से प्राप्त हो जाते हैं। जिसका आधार मानव स्वभाव में ही निहित है। वहीं कार्यक्रम के शुरुआत में सर्वप्रथम मानवाधिकार एसोसिएशन के राष्ट्रीय अध्यक्ष अनुराग चंद्रवंशी ने जिला जज एवं सीजीएम को अंग वस्त्र एवं फूल माला से सम्मानित करते हुए उनका आभार व्यक्त किया। कार्यक्रम के माध्यम से मानवाधिकार एसोसिएशन के पदाधिकारियों ने उपस्थित मानवाधिकार कार्यकर्ताओं को कर्तव्य बोध कराते हुए कई जानकारियां भी दीं। मौके पर रोहतास बार के अध्यक्ष अश्वनी सिन्हा, अनिल द्विवेदी, नागेश तिवारी, अमित उपाध्याय, डॉ प्रवीण सिन्हा सहित इंजीनियर नवीन सिन्हा व अन्य उपस्थित रहे।
