आर० डी० न्यूज़ नेटवर्क : 20 फरवरी 2023 : राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी के प्रमुख शरद पवार ने रविवार को कहा कि उन्होंने एकनाथ शिंदे के नेतृत्व वाले गुट को असली ‘शिवसेना’ के रूप में मान्यता देने और उसे ‘धनुष और तीर’ चुनाव चिन्ह आवंटित करने के चुनाव आयोग के फैसले पर अपना रुख स्पष्ट कर दिया है इसलिए वह बार-बार इस मुद्दे में नहीं पड़ने वाले हैं। NCP प्रमुख शरद पवार की इसी बीच देश के गृह मंत्री से अमित शाह से मुलाकात हुई। इस मुलाकात पर शरद पवार ने कहा, ”कल (शनिवार) अमित शाह सहकारिता परिषद में थे, उसका उद्घाटन मेरे हाथों (परसों) हुआ था। उनके द्वारा उठाए गए मुद्दों पर हमारे बीच कोई मतभेद नहीं है, हमारे नीतिगत मुद्दों पर चर्चा हुई और उनके अमित शाह) मुद्दे उचित लगे।”

रविवार को इस मुद्दे पर संवाददाताओं के एक सवाल के जवाब में पुणे के बारामती शहर में मौजूद राकांपा प्रमुख शरद पवार ने कहा, ”इस समय शिवसेना के नाम और उसका चुनाव सिंबल ‘तीर-धनुष’ का जो मामला चल रहा है, उस पर मैं कुछ नहीं कहना चाहता, वह अलग विषय है। उस पर मैंने परसों (शुक्रवार 17 फरवरी) ही अपनी राय रख दी थी। मैं एकनाथ शिंदे को दिए गए नाम और प्रतीक के विवाद में नहीं पड़ना चाहता। मैं पहले ही अपना स्पष्टीकरण दे चुका हूं।”

चुनाव आयोग के फैसले से उद्धव गुट नाराज

अपने फैसले में चुनाव आयोग ने उद्धव ठाकरे गुट को शिवसेना (उद्धव बालासाहेब ठाकरे) का नाम और ‘ज्वलंत मशाल’ चुनाव चिन्ह बनाए रखने की अनुमति दी, जो उसे पिछले साल अक्टूबर में एक अंतरिम आदेश में दिया गया था। शिवसेना का असली नाम और तीर-धनुष वाला चुनाव चिन्ह सीएम एकनाश शिंदे के गुट को दे दिया गया है। उद्धव ठाकरे ने कहा था कि चुनाव आयोग का आदेश “लोकतंत्र के लिए खतरनाक” है और वह इसे सुप्रीम कोर्ट में चुनौती देंगे। महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे ने चुनाव आयोग के फैसले को सच्चाई और जनता की जीत बताया था। शरद पवार ने शुक्रवार को कहा था कि ‘धनुष और तीर’ के नुकसान से उद्धव ठाकरे के नेतृत्व वाले शिवसेना गुट पर कोई फर्क नहीं पड़ेगा क्योंकि लोग उसके नए चुनाव चिन्ह को स्वीकार करेंगे।

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